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6 दिवसीय शैक्षणिक शिविर का आयोजन ( स्ट्रीट बच्चों के संग )

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 राजस्थान समग्र कल्याण संस्थान के तत्वाधान में शहर के झुग्गी झोपड़ी , स्लम, स्ट्रीट व् गन्दी बस्तियों व् डेरों के गरीब बच्चों के साथ 6 दिवसीय शैक्षणिक शिविर का आयोजन किया गया।  जिसमे उनको प्राथमिक अक्षर ज्ञान ,पहाड़े, कहानियां, कवितायेँ  आदि पढ़ाये व् गुणवत्तापूर्ण तरीके से सिखाये जाते है।  यह निशुल्क प्रशिक्षण शिविर हमें सामाजिक बुराइयों से दूर रखने असहायों की सहायता करने तथा संसाधनो के उपयोग के लिए क्षमता और कौशल को विकसित कर राष्ट्र की समृद्धि में सहायक होता है।  यह जीवन में कुशलता पूर्ण अनुशासन एवं व्यवहार सिखाता है।  शिक्षा बेहतर जीवन जीने का साधन और साध्य दोनों है। यह अन्धकार से प्रकाश की और ले जाने वाला कार्यक्रम है।  शिक्षा के बिना लोग गरीबी और पिछड़ेपन की अंतर पीढ़ीगत चक्र में फसं जाते है।  इस कार्यक्रम में इन बच्चों को प्राथमिक अक्षर ज्ञान, चिन्हों की पहचान, फल, सब्जी, पौधो आदि के नाम, पहाड़े, गिनती, कविता, कहानियाँ,व्यवहार, अनुशासन, दिनचर्या, शारारिक स्वास्थ्य आदि बातों पर महत्वपूर्ण जानकारियाँ दी जाती है जो इनके भविष्य  सकारात्मकता का व...

"महिला सशक्तिकरण की दिशा में: ब्यूटी पार्लर प्रशिक्षण शिविर के माध्यम से आत्मनिर्भरता की ओर"

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  आज के युग में सौन्दर्य प्रसाधन और सौन्दर्य दिखना एक चलन सा हो गया है आजकल स्त्री और पुरुष दोनों इस स्पर्धा में देखे जा सकते है। पर महिलाओं में यह चलन बहुत अधिक बढ़ गया है और महिलाओं के लिए आय अर्जन का सबसे अच्छा कार्य भी बन गया है। हमारे समाज के हर वर्ग की महिलाये आज सुंदर दिखना चाहती है।  और इसके लिए वह ब्यूटी पार्लर का उपयोग करती है।  यह शहरी और ग्रामीण दोनों के लिए यह कार्य बाद रहा है।  जहा अधिकतर महिलाये इसमें अपनी रूचि दिखाती है और इस कार्य को अपनाती है।  जिसमे बहुत अच्छी आय उनको प्राप्त होती है।  महिलाओं  की इस बढ़ती मांग को देखते हुए राजस्थान समग्र कल्याण संस्थान द्वारा शहर के अर्ध ग्रामीण भाग में ब्यूटी पार्लर प्रशिक्षण शिविर का शुभारभ किया गया। जिसमे सौंदर्य प्रसाधन के सभी कार्य निपूर्ण मास्टर ट्रेनर के सानिध्य में इनको कुशलता से सिखाये जायेगे।  कार्यक्रम की शुरुआत में राजस्थान समग्र कल्याण संस्थान द्वारा बताया गया।  यह प्रशिक्षण महिलाओ को आर्थिक रूप से सशक्त करेगा और जीवन में उनको आगे बढ़ने की प्रेरणा देगा।  और साथ ही इस कार्य ...

अनुशासन , शिक्षा व् संस्कार मानव लक्ष्य प्राप्ति के साधन

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  अनुशासन , शिक्षा व् संस्कार ये वो इंसानी विशेषता है जो व्यक्ति विशेष को भीड़ से अलग स्थान प्रदान करती है !जो सकारात्मकता की ऊर्जा भर के जीवन को अपने लक्ष्य की प्राप्ति करने में अति सहायक सिद्ध होती है ! यह कुशल दृश्टिकोण देकर हमे सफल संचालक बनती है ! साथ ही समाज में हमारा स्थान भी स्थापित करती है ! शिक्षा से अनुशासन प्राप्त होता है जो जीवन को सुव्यवस्ठित व् सयमित बनता है ! जबकि हमारे संस्कार हमारे  व्यक्तित्व को प्रदर्शित करते है ! इसमें बहुत सी बाते समाहित होती है जो आपका आचरण , आपकी भाषा  आपकी संजीदगी, व् सादगी, बड़ो का आदर, छोटो से प्यार, जीवों पर दया, साफ व् स्वच्छ रहना, मिलनसार होना,व् शिक्षाप्रद अध्ययन सामग्री का पठन करना, स्मरण करना जैसी बहुत सी बाते विद्यमान है !  शिक्षा सबको प्राप्त करनी चाहिए यह विषय को समझने, जानने, व् पहचानने में मदद करती है ! सफलताओं के सोपान को मार्गदर्शित करती है व् एक विशेष पहचान   देती है जिसमे हमारी पहचान इस समाज स्थापित होती है ! शिक्षा हमे अनुशासित करती है और यही हमे अनुशासन का बोध करवाती है ! अनुशासन का तात्पर्य किसी...

आत्मनिर्भरता की ओर: एक महिला उद्यमिता की कहानी

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मेरा नाम नेहा वर्मा है मैंने स्नातक कर रखा है और अभी से घर पर ही रहती हूं। घर में माता-पिता व दो भाई हैं। पिता का छोटा सा कार्य है वे भाई पढ़ते हैं पढ़ने के बाद मेरी शुरू से इच्छा थी कि मैं कोई अपना व्यवसाय चलाऊं जिससे मुझे मेरा नाम और पैसे दोनों की प्राप्ति हो सके। सौंदर्य श्रृंगार में मेरी रुचि बहुत थी। सुंदर दिखना आकर्षण का परिचायक होता है और यही शुरू से मेरी इच्छा रही फिर मेरी सहेली से मुझे ज्ञात हुआ कि राजस्थान समग्र कल्याण संस्थान द्वारा हमारे यहां ब्यूटी पार्लर प्रशिक्षण शिविर आयोजित किया जा रहा है जिसमें सर्व के दौरान मैंने अपना नाम अंकित करवा लिया इसके लिए परिवार से मैंने सहमति ही प्राप्त कर ली। कुछ दिनों पश्चात यह प्रशिक्षण शिविर प्रारंभ हुआ। इसमें हम 30 महिलाएं थी। इस कार्यक्रम में हमें प्रत्येक दिन 8 घंटे का प्रशिक्षण दिया जाने लगा, जिसमें महिलाओं के साज श्रृंगार के सभी काम हमें बारी-बारी सिखाए जाने लगे। 3 माह के इस प्रशिक्षण कार्यक्रम में एक कुशल मास्टर ट्रेनर के नेतृत्व में हमने अपना ब्यूटी पार्लर काम जारी रखा।   इस कार्यक्रम में हम सभी को साथ समय- समय पर अन्य और भी क...

भविष्य का निर्माण: बच्चों में अनुशासन और संस्कृति का पोषण

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  बच्चे आने वाले भविष्य का निर्माण करते हैं। यह देश की भावी पीढ़ी को अगर हम अनुशासन व संस्कार नहीं सिखाएंगे तो यह पथ भम्रित हो जाएंगे और अपना जीवन नष्ट कर लेंगे। अच्छे लक्ष्य प्राप्ति के लिए जीवन में अनुशासन में संस्कारों का होना अति आवश्यक है। यह अनवरत प्रक्रिया है जिसमें जीवन के समस्त क्रियाकलाप समाहित होते हैं। इन शिविरों में माध्यम से बच्चों की आंतरिक कला को निखारा जाता है और उनमें अच्छे संस्कार विकसित किए जाते हैं। इसका उद्देश्य उनके जीवन का सर्वाधिक विकास करना है। उन्हें अपनी भाषा, आचरण, रीति रिवाज, संस्कारों के बारे में बताया जाता है। स्थिर रहने की एकाग्रता बढ़ती है। बुद्धि का विकास होता है और अच्छी सोच हमारी आदतों को विकसित करती है। यह शारीरिक भी होते हैं और मानसिक भी | संस्कार ही जीवन का आधार और मानव की सबसे बड़ी पूंजी है। संस्कार से ही चरित्र निर्माण होता है। इनके द्वारा ही व्यक्ति क्रियात्मक व रचनात्मक बनता है। संस्कारों का ना होना पतन का मुख्य कारण होता है। राजस्थान समग्र कल्याण संस्थान के नेतृत्व में शहर की झुग्गी झोपड़ी, स्लम एरिया, स्ट्रीट बच्चों के साथ लगभग 12 स्थान...

बच्चों के लिए शिक्षा और संस्कार शिविर: जीवन में सकारात्मक परिवर्तन

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 मेरा नाम आकाश है और मैं माक्कड़वाली के झुग्गी झोपड़ी वाले इलाके में रहता हूं। परिवार में माता-पिता भाई व बहन है। हमारी आय अधिक न होने के कारण हम आगे पढ़ाई नहीं कर सके | जिससे हमें अनुशासन,संस्कार व अन्य चीजों के बारे में कुछ नहीं पता है। जीवन को अच्छा जीने का कौशल हमें नहीं आता है। हमारा बचपन घर के काम करने व खेल कूद में ही निकल जाता है। हमारे जीवन में सब किस तरह से संभव हो, यह हमें नहीं पाता है। इसके लिए हमारे यहां एक समाजसेवी संस्था द्वारा अनुशासन व संस्कार शिविर कार्यक्रम का आयोजन किया गया। संस्था द्वारा बताया गया कि बच्चों में शिक्षा के साथ अनुशासन  व संस्कार क्यों अति आवश्यक है। सभी को अपने लक्ष्य प्राप्ति हेतु जीवन में ये दोनों बातें अपनानी बहुत जरूरी है। शिक्षा और विकास के क्षेत्र में अनुशासन महत्वपूर्ण विषय है। अनुशासन मानवीय संसाधनों का एक मूल तत्व है जो व्यक्ति को संगठित करने,समय प्रबंधन करने, लक्षण की प्राप्ति के लिए कर्मकता और संगठनशीलता को विकसित करता है। बच्चों के बौद्धिक विकास क्षमताओं को निखारने का काम करते हैं। जीवन एक चुनौती पूर्ण लक्ष्य है। इसकी प्राप्ति के...